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खैरागढ़ महाविद्यालय में मनाया गया अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस

सत्यमेव न्यूज खैरागढ़. रानी रश्मि देवी सिंह शासकीय महाविद्यालय खैरागढ़ में प्राचार्य डॉ.ओपी गुप्ता एवं वरिष्ठ अध्यापक डॉ.जितेंद्र साखरे के मार्गदर्शन में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन किया गया कार्यक्रम का संचालन समाजशास्त्र विभाग की अतिथि सहायक प्राध्यापक डॉ.परमेश्वरी कुंभज टांडिया ने किया सर्वप्रथम मां सरस्वती के तैलिया चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरूआत किया गया अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनाओं के साथ उन्होंने कहा कि जिंदगी है देन खुदा की जीने का हक मेरा है पांव जमीं पर है आसमा छूने का हक मेरा है। महिला सशक्तिकरण सभी क्षेत्रों में हो रही है। महिलाएं अपनी सफलता का परचम सभी क्षेत्रों में लहरा रही है। महिलाएं सामाजिक, आर्थिक, शैक्षणिक, राजनैतिक, स्वयं निर्णय लेने की क्षमता के साथ ही वे स्वतंत्र रूप से अपनी दायित्वों व कर्तव्यों को बेहतर तरीके से कर रही है साथ ही महिलाएं आत्मविश्वास, साहस व जागरूकता से आगे बढ़ते हुये अपना व परिवार समाज राज्य राष्ट्र निर्माण में अपना योगदान दे रही है।

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प्रोफेसर यशपाल जंघेल विभागाध्यक्ष हिंदी ने विवेक चतुर्वेदी की कविता के द्वारा महिला सशक्तिकरण को बताया। डॉ.उमेद चंदेल अतिथि सहायक प्राध्यापक हिंदी ने कहा कि अपने अधिकारों के प्रति सजग रहिये और उनका गलत दुरुपयोग करने से बचिये साथ ही स्वप्रेरित होकर आगे बढ़िये क्योंकि सशक्त महिला ही सशक्त समाज का निर्माण करती है। डॉ.मेधाविनी तूरे (कन्या महाविद्यालय) हिंदी ने बताया कि सभी क्षेत्रों में महिलाएं आगे बढ़ रही है सभी क्षेत्रों में सफलता प्राप्त कर रही है सभी एक दूसरे का साथ व सहयोग करते हुये अपने अपने कर्तव्यो व दायित्वों को निभाएं। बेटों को भी संस्कारवान बनाएं ताकि वह महिलाओं का सम्मान करें व उनके अधिकारों की सुरक्षा करें। अंजली सिंह अतिथि सहायक प्राध्यापक अंग्रेजी उन्होंने कहा कि सभी महिलाएं सुंदर हैं, खास हैं व महत्वपूर्ण है सभी का सम्मान करें सभी को अवसर दे, ताकि वे आत्मनिर्भर बन सके। कुमारी लीना एम ए हिंदी के छात्र ने बताया कि राष्ट्रीय सेवा योजना में छात्रों को मौका मिल रही है और हम सब बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रहे हैं और अपने कार्यों को अच्छे से कर रहे हैं जो की महिला सशक्तिकरण का ही हिस्सा है। टिकेंद्र वर्मा एम.ए हिंदी के छात्र ने बताया कि हमारे महाविद्यालय के हेमचंद यादव दुर्ग विश्वविद्यालय की मेरिट सूची में छात्राओं ने ही बाजी मारी है और छात्र उनसे पीछे हैं जो की शैक्षणिक रूप से महिला सशक्तिकरण हो रही है। रोहन बी.ए. द्वितीय सेमेस्टर के छात्र ने कहा कि महिलाओं में जागरूकता की कमी है अपने आसपास की महिलाओं को मैंने घरेलू हिंसा का शिकार होते देखा है और मैं कई बार 112 को भी सूचित किया और वह आए भी जिसके चलते अब उन महिलाओं को महिला घरेलू हिंसा का शिकार नहीं होना पड़ रहा है महिलाओं को जागरूक करने की आवश्यकता है। दिव्या रावते ने बताया कि हमारी स्वतंत्रता दूसरों के शर्तें अनुसार रहना या जीवन जीना स्वतंत्रता नहीं है बल्कि स्वतंत्रता हमारी स्वयं की होनी चाहिए निर्णय हमारी हो। मुस्कान, नेहा व आंचल ने भी महिला सशक्तिकरण पर अपने विचार रखें। छात्र-छात्राओं ने महिला सशक्तिकरण को अपनी कविता गीत स्लोगन में पिरोया और उनके माध्यम से अपने विचारों को रखा। बड़ी संख्या में छात्र छात्राएं उपस्थित रहे।

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