अतिवृष्टि से रेंगाकठेरा के किसानों की 200 एकड़ सोयाबीन की फसल बर्बाद

पीड़ित किसानों ने जिला प्रशासन से की मुआवजे की मांग
सत्यमेव न्यूज के लिए आकाश तिवारी खैरागढ़। क्षेत्र में लगातार हो रही अतिवृष्टि ने इस साल किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है। खैरागढ़ तहसील के ग्राम रेंगाकठेरा में लगभग 200 एकड़ क्षेत्र में बोई गई सोयाबीन की फसल पूरी तरह से नष्ट हो गई है। फसल खराब होने से ग्रामीण किसानों के सामने आर्थिक संकट और रोज़ी-रोटी का संकट गहराता जा रहा है। किसानों ने शनिवार को कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर शीघ्र नुकसान का सर्वे कर मुआवजा दिलाने की मांग की। किसानों का कहना है कि सोयाबीन उनकी मुख्य नकदी फसल है, जिससे पूरे वर्ष परिवार का खर्च, बच्चों की शिक्षा और कृषि कार्यों की पूर्ति होती है लेकिन इस बार लगातार वर्षा और जलभराव से खेतों में खड़ी फसलें पूरी तरह नष्ट हो चुकी हैं। ज्ञापन में बताया गया है कि गांव के अधिकांश किसान छोटे और सीमांत हैं जिनकी जीविका केवल खेती पर निर्भर है। ऐसे में फसल नष्ट होने से वे कर्ज़ और जीविका संकट से जूझ रहे हैं।

किसानों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि तत्काल सर्वे दल भेजकर नुकसान का आकलन किया जाए और राहत राशि प्रदान की जाए ताकि प्रभावित किसान पुनः खेती के लिए तैयार हो सकें। इस ज्ञापन पर जनपद सदस्य चंद्रप्रकाश चंदेल, रामअवतार वर्मा, ग्राम पंचायत के सरपंच, शिव नंदन, बाहनराम वर्मा, अशोक वर्मा, माजसिंह, गोटालाल, प्रेमसिंह वर्मा, पंचम, हेमप्रवर्ण वर्मा, केशव राम, सहानंद वर्मा, महेश, सोमसिंह वर्मा, बीरेंद्र वर्मा, देवसिंह वर्मा, गीतालाल, हेमप्रकाश वर्मा, ज्ञानेंद्र, लेखूराम, रमेश सहित दो दर्जन से अधिक किसानों के हस्ताक्षर हैं।