Advertisement
Uncategorized

कलेक्टर के आदेश की हवा निकाल रहा पालिका, सड़कों पर आवारा मवेशियों का राज कायम

सत्यमेव न्यूज खैरागढ़। जिले में आवारा मवेशियों की समस्या विकराल रूप ले चुकी है। कलेक्टर इंद्रजीत सिंह चंद्रवाल के स्पष्ट आदेश थे कि जो पशुपालक मवेशियों को खुले में छोड़ेगा, उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज होगी लेकिन हकीकत यह है कि आदेश अब तक सिर्फ़ कागजों में कैद रह गए हैं। प्रशासनिक लापरवाही से नाराज़ किसानों ने आज सुबह वार्ड-12 अमलीपारा से सैकड़ों गायों को हांककर सीधे नगर पालिका कार्यालय के सामने छोड़ दिया। गांव के किसान रामाधार का कहना है, “हमारी मेहनत की फसलें हर रोज़ बर्बाद हो रही हैं। रात में ग्रामीण मवेशियों को शहर में छोड़ जाते हैं। अब हम मजबूरन इन्हें पालिका के हवाले कर रहे हैं।”

विधायक प्रतिनिधि एवं मिशन संडे टीम के संयोजक मनराखन देवांगन ने भाजपा सरकार पर सीधा हमला बोला। उन्होंने कहा, “गाय के नाम पर वोट लेने वाली सरकार ने सड़कों को गौशाला बना दिया है। कलेक्टर से लेकर पालिका तक सिर्फ आश्वासन मिला, लेकिन कार्रवाई शून्य रही। यही कारण है कि गांववाले अब मवेशियों को शहर में लाकर छोड़ने को मजबूर हैं।” श्री देवांगन ने सोनेसरार के बंद पड़े गौठान को फिर से शुरू करने की मांग को भी दोहराया और कहा कि अधिकारियों की नींद न खुलने से हालात बेकाबू हो रहे हैं।

गांव और शहर की सड़कों पर बैठी गायें हादसों को न्योता दे रही हैं। बरसात के दिनों में पक्की सड़कों पर डेरा जमाए ये मवेशी वाहन चालकों की जान पर भारी पड़ रहे हैं। कई लोग दुर्घटनाओं में जेल की सजा तक भुगत चुके हैं, जबकि असली दोषी खुले में घूम रहे मवेशी हैं। लोगों का गुस्सा अब फूट पड़ा है। जनचर्चा है कि क्या प्रशासन किसी बड़ी दुर्घटना का इंतजार कर रहा है या फिर कलेक्टर के आदेश महज़ दिखावे के लिए जारी किए गए थे। इस समस्या के समाधान को लेकर अब ग्रामीणों और आम नागरिकों की एक ही मांग है कि “सड़कों से गाय हटें, गौठान चालू हों और दोषियों पर सख्त कार्रवाई हो।”

Satyamev News

आम लोगों की खास आवाज

Related Articles

Back to top button

You cannot copy content of this page