डेंगू, मलेरिया और डायरिया को लेकर स्वास्थ्य विभाग अलर्ट
सत्यमेव न्यूज़ खैरागढ. जिले में लगातार बारिश के कारण मच्छरों का प्रकोप बढ़ने के आसार हैं जिसे लेकर स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर है। खासतौर पर नगरीय इलाकों के साथ ग्रामीण व वनांचल के कुछ चिन्हित मलेरिया जोन में बीमारी की आशंका इन दिनों बढ़ जाती है। बीते तीन दिनों से मानसून के सक्रिय होने के बाद जिले में रूक-रूककर लगातार बारिश हो रही है और बारिश के चलते अनावश्यक पानी का जमाव भी हो रहा है। जल जमाव के कारण मच्छरों के पनपने की अनुकूलता इन दिनों दुगुने से भी अधिक हो गई है। इन स्थितियों में मलेरिया रोग की आशंका बढ़ गई है वहीं डेंगू को लेकर भी सतर्कता आवश्यक है। बारिश के बाद मौसम में नमी आने से डायरिया रोग को लेकर जिले में मामले अब कम हुये हैं। बीते सप्ताह ग्राम मुंहडबरी में दर्जनभर से अधिक डायरिया के मरीज मिले थे लेकिन अभी डायरिया को लेकर स्थिति सामान्य है। अच्छी बारिश नहीं होने और गर्मी सहित उमस के कारण बीते माह डायरिया के मरीज लगातार मिल रहे थे। बताया जा रहा है कि बीते 2 माह में लगभग 200 से अधिक मरीजों को डायरिया का संक्रमण हुआ था लेकिन मौसम परिवर्तन के बाद अब स्थिति सामान्य है।
सर्दी, खांसी व वायरल के मरीज बढ़े
लगातार बारिश व मौसम में नमी के कारण बीते सप्ताहभर में सर्दी, खांसी व वायरल फीवर के मरीज जिले में बढ़े हैं। प्रतिदिन लगभग 100 से अधिक मरीज सर्दी, खांसी व वायरल संक्रमण के मिल रहे हैं। जिले के प्रमुख स्वास्थ्य केन्द्रों खैरागढ़, छुईखदान, गंडई, साल्हेवारा, जालबांधा, ठेलकाडीह, बाजार अतरिया, पांडादाह, मुढ़ीपार सहित बड़े कस्बाई इलाकों में भी सर्दी, खांसी व वायरल संक्रमण को लेकर मरीजों की संख्या बढ़ी है और प्रतिदिन इन इलाकों में मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं। जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. गणेश दास वैष्णव ने बताया कि डायरिया सहित मौसमी बीमारी, सर्दी, खांसी व वायरल फीवर को लेकर इस मौसम में लोगों को जागरूक रहने की आवश्यकता है, खासतौर पर उबला हुआ गरम पानी पीना ज्यादा फायदेमंद है। ग्रामीण व वनांचल के इलाकों में स्वास्थ्य अमला लोगों को जागरूक कर रहा है साथ ही गर्म पानी पीने की सलाह के साथ फ्लोरिन की दवाई निःशुल्क उपलब्ध कराई जा रही है।
मलेरिया को लेकर स्वास्थ्य विभाग सतर्क
जिले का वनांचल का इलाका डेंजर मलेरिया जोन में आता है जिसे लेकर स्वास्थ्य विभाग सतर्क है। जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. विवेक बिसेन ने बताया कि साल्हेवारा, बकरकट्टा से लेकर गातापार, लछना, कटेमा तक का इलाका मलेरिया रोग को लेकर संवेदनशील है। इन इलाकों में लगातार शिविर लगाकर जांच व उपचार किया जा रहा है। बीते 2 माह में लगभग 100 से अधिक मलेरिया के मरीज इन इलाकों में मिले हैं वहीं डेंगू को लेकर अच्छी खबर यह है कि अब तक जिले में एक भी डेंगू का मरीज नहीं मिला है। जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. गणेश दास वैष्णव ने बताया कि इस मौसम में जागरूकता और बचाव इलाज से बेहतर है, हमें सजग रहने की आवश्यकता है। खासतौर पर जिले के आदिवासी एवं वनांचल के इलाकों में सतर्कता बरती जा रही है, कैम्प लगाकर निरंतर जांच की जा रही है और दवाईयों का वितरण किया जा रहा है। वर्तमान में मलेरिया की दवाईयां पर्याप्त है लेकिन शासन स्तर पर दवाईयों व मच्छरदानियों की मांग की गई है।
जिले में एक भी डेंगू का मरीज नहीं
खैरागढ़-छुईखदान-गंडई जिले में अब तक डेंगू का एक भी मरीज नहीं मिला है लेकिन स्वास्थ्य विभाग डेंगू नियंत्रण को लेकर भी सतर्कता बरत रही है। डॉ. बिसेन ने बताया कि डेंगू को लेकर पलायन कर वापस लौटने वाले लोगों पर नजर रहती है। ऐसे मरीज जो यात्रा कर बड़े शहरों से लौटे हैं और जिन्हें बुखार की समस्या बनी हुई है उनका डेंगू टेस्ट किया जा रहा है। खबर है कि रविवार की रात मदनपुर के तीन पलायित लोगों का जिन्हें तेज बुखार था, देर रात डेंगू टेस्ट किया गया था जो नेगेटिव आया है।
कूलर, गमलों व अन्य वस्तुओं में न होने दे पानी का जमाव
तेज बारिश के कारण इन दिनों घर पर रखे कूलर, गमलों सहित छत व खुले आसमान के नीचे रखी वस्तुओं में पानी जमा हो रहा है जिसके कारण यहां मच्छर पनप सकते हैं। इस स्थिति में मच्छरों की अधिकता के कारण मलेरिया व डेंगू रोग का खतरा बढ़ सकता है।
इस मौसम में बीमारियों से बचने जागरूक रहें
- मकान व रहवासी इलाकों के आसपास मच्छरों को पनपने न दें।
- कूलर, गमला सहित किसी भी वस्तुओं में पानी भरने न दें।
- कूलर का उपयोग नहीं होने पर उसमें से पानी साफ कर लें।
- जिनके घरों में कूलर चालू है उसे 4 से 7 दिन के भीतर साफ करें।
- घर के आसपास गड्ढों स नालियों में सफाई का ध्यान दें।
- नाली व गड्ढों में पानी हो तो जला हुआ ऑइल, फिनाइल, कैरोसीन या ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव करें।
- जागरूकता रखें और अपने आसपास के लोगों को भी मच्छरों से बचने जागरूक करें।
- पानी उबालकर पीयें और बाहर का भोजन करने से बचें।
मौसमी बीमारियों के साथ डेंगू, मलेरिया को लेकर विभाग सतर्क है। जिले के चिन्हित मलेरिया जोन में एहतियात बरतकर शिविर लगाया जा रहा है वहीं डायरिया से बचाव को लेकर भी अभियान चलाया जा रहा है।
डॉ. गणेश दास वैष्णव, जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, केसीजी
जिले में मलेरिया के सामान्य मरीज मिल रहे हैं वहीं डेंगू का एक भी मरीज नहीं मिला है। डेंगू-मलेरिया नियंत्रण को लेकर विभाग सतर्क है और मलेरिया जोन वाले वनांचल के इलाकों में लगातार शिविर लगाकर जांच व उपचार किया जा रहा है। निःशुल्क दवाईयों के साथ मच्छरदानी का भी वितरण किया जा रहा है। पलायन कर वापस लौटने वाले लोगों पर भी विभाग नजर बनाये हुये हैं।
डॉ. विवेक बिसेन, जिला मलेरिया अधिकारी, केसीजी