खैरागढ़ में जनसहयोग से तैयार संभाग के पहले एस्ट्रोनोमी लैब का आज उद्घाटन
सांसद संतोष पांडे के मुख्य आतिथ्य में होगा उद्घाटन समारोह
विकासखंड शिक्षा अधिकारी के पहल ने बदली जर्जर हो चुके ऐतिहासिक भवन की तस्वीर
सत्यमेव न्यूज़ खैरागढ़. दृढ इच्छा शक्ति हो तो बड़े से बड़े बदलाव को भी अंजाम दिया जा सकता हैं। खैरागढ़ विकासखंड शिक्षाधिकारी नीलम राजपूत ने अपनी इच्छा शक्ति से इसी बदलाव को अंजाम दिया हैं। इतिहास के पन्नों में दर्ज जर्जर हो चुके प्राथमिक शाला क्रमांक 2 के खस्ताहाल किन्तु ऐतिहासिक भवन अब जनसहयोग से शानदार एस्ट्रोनोमी लैब में तब्दील हो चुका है। बस्तर के बाद यह प्रदेश का दूसरा एस्ट्रोनॉमी लैब होगा जिसका उद्घाटन शुक्रवार को राजनांदगांव लोक सभा के सांसद संतोष पांडे समारोह पूर्वक करेंगे।
आधुनिक उपकरण सोलर सिस्टम की आकर्षक चित्रकारी के साथ बनाया गया हैं लैब
लैब को सम्पूर्ण सोलर सिस्टम की आकर्षक चित्रकारी के साथ आधुनिक उपकरण से लैश किया गया है। विज्ञान के जानकारों से चर्चा कर पोस्टर, विज्ञान सामग्री, दूरबीन सहित अन्य सामग्रियां मुम्बई, दिल्ली व पुणे से संपर्क कर मंगाया गया है। जो अलग तरह की सामग्रियों की उपलब्धता के चलते यह सम्पूर्ण दुर्ग संभाग का सबसे बड़ा एस्ट्रोनोमी लैब होगा और नि:संदेह विज्ञान के जिज्ञासुजनों और विद्यार्थियों के लिए दर्शनीय होगा।
प्रत्येक शनिवार विद्यार्थियों के लिए दिनभर खोला जाएगा लैब
विकासखंड सहित समूचे जिले के छात्र प्रत्येक शनिवार को इस लैब का शैक्षणिक भ्रमण कर पायेंगे जिनके लिये लैब लगाई गई दुर्लभ जानकारी के साथ एस्टॉनोमिकल गैजेट्स और उपकरण के साथ यहां किया गया अंतरिक्षीय रंग-रोगन व साज सज्जा आकर्षण का केंद्र रहेगा। इस पूरी उपलब्धि के लिए यहां यह बताना भी जरूरी है कि ब्लॉक शिक्षाधिकारी के रूप में पदोन्नत होने के बाद बी.ई.ओ. नीलम राजपूत की नजर अपना अस्तित्व खो चुके जर्जर प्राथमिक शाला क्रमांक 2 के भवन पर पड़ी। देखते ही निर्णय लिया कि इसे जनउपयोगी बनाया जाये सी.ए.सी. साथियों के साथ बैठक कर व तत्कालीन जिला शिक्षाधिकारी डॉ. के.वी.राव से अनुमति प्राप्त कर एस्ट्रोनोमी लैब बनाने की कार्य योजना तैयार की गई पर यह शासकीय फण्ड के अभाव में जोखिम भरा कदम था जिसके लिये बैठकों का दौर चला और इस मुहिम से समाजसेवियों को जोड़ा गया। इनमे इस स्कूल से पढ़े लोग भी शामिल थे। समाजसेवी विकास आर्या, नवीन जैन, समशुलहोदा खान, शुभम ठाकुर, मदनी खान सहित शिक्षक धृतेन्द्र सिंह, प्रणय महोबे व शिक्षक संघ के अन्य पदाधिकारी के साथ मिलकर स्वेच्छा पूर्वक समिति का गठन किया गया और डेढ़ साल पूर्व कार्य प्रारंभ किया गया और बी.ई.ओ. के नेतृत्व में एस्ट्रोनोमी लैब की दिशा में कदम बढ़ाया गया।
समाजसेवी विकास आर्या ने उपलब्ध कराये सामग्री और मजदूर
कंस्ट्रक्शन का काम करने वाले खैरागढ़ के समाजसेवी विकास आर्या ने तत्कालीन अवधि में स्कूल में ही अध्ययन करने वाली अपनी माता स्व.आशारानी आर्या की स्मृति में भवन को गढ़ने में कोई कसर नही छोड़ी 4 लाख रुपए की भवन सामग्री के साथ निर्माण के लिये मजदूर भी उपलब्ध कराया। इसी तरह अन्य समाजसेवियों ने भी इस निर्माण में अपनी उल्लेखनीय भागीदारी निभाई।
डॉ.रमन सिंह ने यहीं से की थी प्राथमिक शिक्षा की पढ़ाई
प्राथमिक शाला क्रमांक 2 के प्रारम्भिक फर्द में पहली कक्षा की फेहरिश्त में छात्र के रूप में पूर्व मुख्यमंत्री डॉ.रमन सिंह का नाम भी दर्ज है। जानकारी अनुसार स्कूल जब बस स्टैंड के पास था तब डॉ.रमन सिंह शिक्षा का ककहरा यह सीख चुके हैं। खैरागढ़ में विभिन्न कार्यक्रमों के दौरान यहां की अपनी स्मृतियों को लेकर उन्होंने सार्वजनिक रूप से अपनी व गुड नाईट की कहानी अपनी जुबान से सुनाई है।