कलेक्टर का आदेश- धान खरीदी प्रक्रिया में वास्तविक किसानों को न हो किसी तरह की दिक्कत
कलेक्टर ने धान खरीदी से संबंधित अधिकारियों की ली बैठक
जवाबदेही व पारदर्शिता के साथ सर्मथन मूल्य में धान खरीदी करने के निर्देश
सत्यमेव न्यूज़ खैरागढ़. कलेक्टर चन्द्रकांत वर्मा ने जिला कार्यालय सभाकक्ष में धान खरीदी के संबंध में बैठक लेकर समर्थन मूल्य में धान खरीदी की तैयारियों की समीक्षा की। कलेक्टर श्री वर्मा ने कहा कि शासन द्वारा आगामी 14 नवंबर से धान खरीदी शुरू होगी जो 31 जनवरी 2025 तक की जाएगी। उन्होंने धान खरीदी से जुड़े हर पहलू की विस्तृत समीक्षा कर शासन की मंशानुरूप चाक-चौबंद व्यवस्था रखने के निर्देश दिये और कहा कि धान खरीदी केंद्रों में धान खरीदी अवधि, शासन द्वारा निर्धारित गुणवत्ता, समर्थन मूल्य, बायोमेट्रिक धान खरीदी, खाद्य विभाग के टोल फ्री नंबर, टोकन की जानकारी सहित समस्त जानकारी बैनर, पंपलेट, दीवार लेखन और निगरानी के लिए विशेष रूप से सीसीटीवी उपकरण लगाये जाये। साथ ही धान खरीदी केंद्रों में स्थल की सफाई, कांटा बाट अथवा इलेक्ट्रॉनिक कांटा का सत्यापन, कैप कवर, बारदाने की व्यवस्था, ड्रेनेज व्यवस्था, छाया, पेयजल जैसी समस्त व्यवस्थाएं उपलब्ध रहें। कलेक्टर ने कहा कि धान खरीदी प्रक्रिया में वास्तविक किसानों को किसी तरह की दिक्कत नहीं होनी चाहिए। धान बेचने से जुड़ी उनकी हर तरह की समस्याओं का संवेदनशीलता के साथ समाधान किया जाये। उन्होंने धान पंजीकरण ऑनलाइन प्रविष्टि के साथ ही धान खरीदी तिथि को ही आवश्यक प्रविष्टियां पूर्ण करने को कहा है। इस दौरान अपर कलेक्टर प्रेमकुमार पटेल, संयुक्त कलेक्टर सुरेन्द्र कुमार ठाकुर, सुमन राज, एसडीएम खैरागढ़ टंकेश्वर प्रसाद साहू, एसडीएम छुईखदान रेणुका रात्रे, जिला खाद्य अधिकारी भुनेश्वर चेलक, उप पंजीयक सहकारी संस्था रघुराज सिंह, नोडल अधिकारी जिला सहकारी बैंक आलोक शर्मा, डीएमओ चन्द्रपाल दीवान सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
सीमावर्ती क्षेत्रों में विशेष निगरानी एवं सतर्कता बरतने के निर्देश
बैठक में कलेक्टर चन्द्रकांत वर्मा ने कहा कि वास्तविक किसानों की धान खरीदी हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। धान खरीदी के दौरान अवैध रूप से धान का परिवहन, सीमावर्ती क्षेत्रों में स्थापित चेक पोस्टों में विशेष निगरानी और सतर्कता बरतने के निर्देश दिये। इस कार्य में किसी तरह की लापरवाही ना हो, इसका कड़ाई से ध्यान रखा जाये। उन्होंने कहा कि धान उपार्जन केंद्रों में निरीक्षण के लिये नोडल अधिकारियों की डयूटी लगाई गई है वे सभी अपने दायित्वों को गंभीरता से निभाएं। कोचिए-बिचौलिए तथिा कृषि उपज मंडी फुटकर एवं थोक मंडी अनुज्ञप्तिधारियों के कारोबार परिसर में राजस्व, मंडी, खाद्य विभाग के अधिकारियों को नियमित जांच किये जाने तथा अनियमितता पाये जाने पर कृषि उपज मंडी अधिनियम 1972 के प्रावधानों के तहत कार्यवाही किय जाने के लिये निर्देशित किये। इसके अलावा जिन रकबों में धान की फसल नहीं ली गई है लेकिन उन रकबों का भी पंजीयन कराया गया है। ऐसे रकबों की सूक्ष्मता से जांच करने के लिये राजस्व अधिकारियों को निर्देश दिये हैं।