Advertisement
IMG-20241028-WA0001
IMG-20241028-WA0002
previous arrow
next arrow
Uncategorized

नेशनल लोक अदालत को सफल बनाने अधिवक्ता संघ की बैठक संपन्न

सत्यमेव न्यूज़/खैरागढ़. अध्यक्ष विनय कुमार कश्यप जिला विधिक सेवा प्राधिकरण राजनांदगांव के निर्देशानुसार तालुक विधिक सेवा समिति खैरागढ़ में नेशनल लोक अदालत को सफल बनाने अधिवक्ता संघ की बैठक संपन्न हुई. आगामी 13 अगस्त को होने वाले नेशनल लोक अदालत में अधिक से अधिक प्रकरणों का निराकरण किये जाने के संबंध में तहसील विधिक सेवा समिति खैरागढ़ में कुटुम्ब न्यायालय आलोक कुमार के नेतृत्व में 9 अगस्त को अधिवक्ता संघ के साथ बैठक आयोजित हुई जिसमें अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश चंद्रकुमार कश्यप, अपर न्यायिक मजिस्ट्रेट पंकज आलोक तिर्की, अधिवक्ता संघ खैरागढ़ के अध्यक्ष सुरेश भट्ट, सचिव रामकुमार जांगड़े, उपाध्यक्ष दीपेश ठाकुर, कोषाध्यक्ष भुनेश्वर वर्मा, सहसचिव ज्ञानदास बंजारे, महिला उपाध्यक्ष साबरा बानो, ग्रंथपाल विक्रम यदु, संरक्षक सुभाष सिंह ठाकुर, अल्ताफ अली, पं.मिहिर झा, वरिष्ठ अधिवक्ता मोतीलाल जंघेल, तीरथ चंदेल, घम्मन साहू, संदीप दास वैष्णव, कमलाकांत पांडे, सुनील पांडे, मनराखन देवांगन, चंद्रशेखर यादव, अर्जुन दास, प्रकाश ठाकुर, चिंताराम देशमुख, सुप्रीत सिंह, नीरज झा, सुरेश ठाकुर, योगेश चंदेल, शत्रोहन वर्मा, गिरिराज ठाकुर, विभाष सिंह, चंद्रशेखर वर्मा, राजेंद्र जंघेल, बुद्धदेव सिंह, महेश साहू, शंकर, राजीव चंद्राकर, कौशल कोसरे, सुबोध पांडे तथा छुईखदान से शिवेंद्र किशोर दास सहित पैरालीगल वालेंटियर गोलूदास साहू व छबी उपस्थित रहे. बैठक में अधिवक्ता संघ के द्वारा अधिक से अधिक प्रकरणों के निराकरण का प्रयास किये जाने को लेकर जोर दिया गया और बताया गया कि उनके द्वारा नेशनल लोक अदालत में राजीनामा योग्य प्रकरण को निराकरण के लिये पेश किया गया है. गौरतलब है कि आगामी नेशनल लोक अदालत में व्यवहार प्रकरण यथा संपत्ति संबंधी वाद, धन वसूली संबंधी वाद, बैंक एवं अन्य वित्तीय संस्थाओं से संबंधित मामले, राजीनामा योग्य दांडिक प्रकरण, मोटर दुर्घटना दावा प्रकरण, परिवार न्यायालय में लंबित वैवाहिक एवं अन्य मामले, विशेष न्यायालय (विद्युत अधिनियम) में लंबित प्रकरण, अन्य राजस्व संबंधी समझौता योग्य मामले का निराकरण होता है. लोक आदालतों से लाभ यह है कि अधिवक्ताओं पर रूपये खर्च नहीं होता, कोर्ट-फीस नहीं लगती, पुराने मुकदमें की कोर्ट-फीस वापस हो जाती है, किसी पक्ष को सजा नहीं होती, मामले को बातचीत द्वारा सफाई से हल कर लिया जाता है, मुआवजा और हर्जाना तुरन्त मिल जाता है, मामले का निपटारा तुरन्त हो जाता है, सभी को आसानी से न्याय मिल जाता है तथा इसका फैसला अंतिम होता है.

Satyamev News

आम लोगों की खास आवाज

Related Articles

Back to top button

You cannot copy content of this page